शनिवार, 9 मई 2009

नेकी कर कुएमे डाल..२ के बारेमे कुछ..

इस पोस्टपे मैंने कुछ और "add" किया है, जो सम्पादन के समय मुझे ज़रूरी लगा॥
ग़लतीके लिए क्षमाप्रार्थी हूँ..
शमा

3 टिप्‍पणियां:

  1. शमा दी’आपको अभी भी कदाचित ट्रांसलिटरेशन में समस्या है क्योंकि डाल की जगह दाल आ रहा है। अगर कुंए में दाल डाल दी जाए तो तमाम गरीब उस कुंए का पता पूंछ कर रोटी लेकर उसमें कूद पड़ेंगे ताकि दाल-रोटी की न्यूनतम जरूरत पूरी हो जाए
    सादर
    डा.रूपेश श्रीवास्तव

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  2. लेकिन आपकी पोस्ट कहा गई?

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  3. shamaa ji
    aap ka blog dekha achcha laga.aap ki life sketch padhi kaafi sentimental hai
    aap yun hi likhate rahe
    main vaise vyang(hindi satire ) v geet gazal likhta reheta hoo....achchi ya buri to aap dost log bataayenge ....

    -anand
    akpathak3107@gamil.com

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